श्री कृष्ण भजन इक दिन तू मेरी गली आ जाना
एक दिन तू मेरी गली आ जाना ...२
मेरा भी माखन तू खा जाना …२
ब्रज की पुकार हो द्रौपदी की टेर
आते हो दौड़ नहीं करते हो देर …२
मेरी भी बिगड़ी बना जाना
मेरा भी माखन तू खा जाना
तू खा जाना …२
एक दिन तू मेरी गली आ जाना
आ जाना
हूँ .. मेरा भी माखन तू खा जाना
तू खा जाना …२
माना वृन्दावन से मेरा घर है बड़ी दूर
किन्तु मुरली वाले तुम आना जरूर …२
प्यारी सी …
बंशी सुना जाना
मेरा भी माखन तू खा जाना
तू खा जाना …२
हूँ .. मेरा भी माखन तू खा जाना
तू खा जाना …२
*** समाप्त***

Vaah kya baat hai.... Guru ji 🙏🙏🙏
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर रचना
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